मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने कहा कि पीसीएस-प्री परीक्षा कराने के लिए यूनिवर्सिटी, आईटीआई व पोलिटेक्निक जैसे बड़े भवनों में कई सेंटर बनाए जा सकते हैं। आगामी 22 दिसंबर को प्रस्तावित परीक्षा शासनादेश के अनुसार परीक्षा केंद्र मुख्य मार्ग पर होना चाहिए।
केवल सरकारी व वित्त पोषित संस्थानों को ही केंद्र बनाया जाएगा। कोई निजी संस्थान केंद्र नहीं बनाया जाएगा। कोषागार से परीक्षा केंद्र की दूरी 10 किमी होने की अनिवार्यता में शिथिलता प्रदान की गई है। वह शुक्रवार को सभी मंडलायुक्तों और डीएम को वीडियो कान्फ्रेंसिंग के जरिये आवश्यक दिशा-निर्देश दे रहे थे। उन्होने कहा कि सभी डीएम मुख्य मार्गों पर स्थित सरकारी एवं वित्त पोषित संस्थानों कि सूची 18 नवंबर तक उप्र लोक सेवा आयोग एवं कार्मिक विभाग को उपलब्ध कराएं। कार्मिक विभाग एनआईसी की मदद से डाटाबेस तैयार कराएगा, जिसका प्रयोग देश में होने वाली अन्य परीक्षाओं में होगा।
वहीं अनुपूरक पुष्टाहार की प्रगति की समीक्षा करते हुए टीएचआर प्लांट पूरी क्षमता से चलाने को कहा। उन्होने सभी डीएम को वित्तीय वर्ष 2023-24 में स्वीकृत 171 बाल विकास परियोजना कार्यालय सहगोदाम के निर्माण कार्यों की नियमित समीक्षा करने का निर्देश दिया। साथ ही बांदा, गोरखपुर, कानपुर देहात व बहराइच के डीएम को आंगनबाड़ी भर्ती तथा आंगनबाड़ी सहायक से आंगनबाड़ी कार्यकत्री के पद पर पदोन्नति की प्रक्रिया को जल्द पूरा कराकर विज्ञापन प्रकाशित करने को कहा। उन्होने उप्र रानी लक्ष्मीबाइ महिला एवं बाल सम्मान कोष द्वारा 9 जघन्य अपराधों से पीड़ित महिलाओं को 1 लाख रुपए से 10 लाख रुपए तक की क्षतिपूर्ति प्रदान करने का निर्देश भी दिया।