हुनर हाट में लोगों को भाया खादी, लाखों रुपये की हो रही ब्रिकी
उत्तर प्रदेश सरकार की तरफ से हस्तशिल्प और खादी को बढ़ावा देने के लिए एक के बाद एक करे योजनाएं संचालित की जा रही है। सरकार की तरफ से इस समय उत्तर प्रदेश स्थापना दिवस समारोह मनाया जा रहा है। इसके जरिए खादी को बढ़ावा देने के लिए एक से बढ़कर एक कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। लखनऊ के अवध शिल्प ग्राम में उत्तर प्रदेश खादी तथा ग्रामोद्योग बोर्ड की तरफ से ‘‘खादी महोत्सव- 2021’’ का आयोजन किया गए है। यहां पर खादी ग्रामोद्योग की तरफ से लगाए गए स्टाल लोगों को अपनी तरफ खूब आर्कषित कर रहे हैं। खादी के सामान से करोड़ों रुपये की ब्रिकी हो चुकी है। पहले ही दिन लगभग 38.35 लाख रुपये के खादी एवं ग्रामोद्योग उत्पादों की बिक्री हुई है।
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अपर मुख्य सचिव, खादी एवं ग्रामोद्योग डा0 नवनीत सहगल ने बताया कि खादी प्रदर्शनी में 119 स्टाल खादी एवं ग्रामोद्योग इकाइयों को निःशुल्क उपलब्ध कराए गए है। प्रदर्शनी में उत्तर प्रदेश के विभिन्न जनपदों के अतिरिक्त अन्य प्रदेशों गुजरात, बिहार, आंध्र प्रदेश, उत्तराखण्ड, तथा राजस्थान की खादी एवं ग्रामोद्योग उत्पादों का प्रदर्शन एवं विक्रय किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि प्रदर्शनी में सहारनपुर के नक्काशीदार फर्नीचर, लेदर का सामान, भदोही के कारपेट, मिटटी से बने बर्तन व घरेलू सजावटी सामान, प्रतापगढ़ का ऑवला-मुरब्बा, कानपुर का हैण्डीक्राफ्ट, अमरोहा के चादर, गमछे एवं सदरी, सीतापुर के तौलिये एवं दरी, मऊ के पर्दे, लखनऊ की शुद्ध रॉयल हनीं, वाराणसी की रेशम तथा सिल्क की साड़ी, राजस्थान के बीकानेरी पापड़ एवं नमकीन, उत्तरांचल के कोट एवं जैकेट तथा गुजरात एवं राजस्थान के हस्तकला पर आधारित उत्पाद आकर्षण का प्रमुख केन्द्र बन हुए हैं। इसके अतिरिक्त प्रदर्शनी में मिट्टी से निर्मित उत्कृष्ट उत्पादों की एक लम्बी श्रृंखला मौजूद हैं। साथ ही गोरखपुर का टेराकोटा उत्पाद, आजमगढ़ की ब्लैकपॉटरी, खुर्जा के मिट्टी निर्मित कुकर तथा कढ़ाई, पानी बोतल आदि उत्पाद लोगों को खूब बा रहे हैं।
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