देश के सबसे लंबे एलिवेटेड रेलवे ट्रैक की रोहतक में रखी गई आधारशिला

इस प्रोजेक्ट से रोहतक की पांच बड़े सड़क मार्गों से फाटक बंद होने के कारण होने वाले जाम की समस्या खत्म हो जाएगी। यह रेलवे लाइन का डबल एलिवेटिड ट्रैक होगा, जो सरकुलर रोड से शुरू होकर राजीव गांधी ऑडिटोरियम तक जाएगा। इस तरह से रोहतक में जर्मन, जापान और फ्रांस की तर्ज पर रेल सड़क से ऊपर पुल पर दौड़ती नजर आएगी। यह भारतीय रेलवे का प्रथम एलिवेटेड रेल ट्रैक है, जिसे अत्यंत घनी आबादी वाले शहरी क्षेत्रों में सड़कों पर यातायात को सुगम बनाने के लिए निर्मित किया जा रहा है।
350 करोड़ रुपए की आएगी लागत
देश के सबसे बडे एलिवेटिड रेलवे ट्रैक पर करीब 350 करोड़ रुपए की लागत आएगी और 18 माह में यह परियोजना पूरी होगी। इसमें कुल लागत का 75 प्रतिशत रेलवे और 25 प्रतिशत राज्य सरकार खर्च करेगी। वैसे, पिछली कांग्रेस सरकार के दौरान रोहतक के लिए रेलवे बाईपास मंजूर हुआ था। पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुडडा का गृह क्षेत्र होने के कारण इसको पिछली सरकार में ही मंजूरी मिली थी। परियोजना के मुताबिक इसके लिए सैकड़ों एकड़ जमीन एक्वायर होनी थी, लेकिन किसान इसके लिए राजी नहीं थे। अब बता दें कि इस एलिवेटिड रेलवे ट्रैक के लिए जमीन के अधिग्रहण की जरूरत नहीं पड़ेगी।
शहरवासियों को 5 रेलवे क्रॉसिंग से मिल जाएगा छुटकारा
रोहतक शहर में सबसे ज्यादा परेशानी लोगों को रेलवे क्रॉसिंगों से है। यहां पर एक नहीं दो नहीं बल्कि 5 रेलवे क्रॉसिंग हैं। इसकी वजह से लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पडता था। इस वजह से पूरा शहर ट्रैफिक जाम से जूझता रहता है। लेकिन, अब जल्द ही इस से रोहतक को छुटकारा मिल जाएगा। एलिवेटेड ट्रैक मौजूदा रेलवे लाइन के किनारे किनारे ही बनाया जाएगा। इसके लिए रेलवे लाइन के किनारे 12 मीटर चौड़ी पट्टी को रेलवे सड़क बनाने के लिए देगा जब रेलवे का एलिवेटेड ट्रैक बन जाएगा, तो सड़क अपनी पुरानी जगह पर कर दी जाएगी। रेलवे को उम्मीद है एलिवेटेड ट्रैक बन जाने के बाद रोहतक में सड़क यातायात आसानी से चल पाएगा।
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