अगले दस साल के लिए बढ़ाई गई ‘उड़ान’ योजना

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एक समय था जब आम आदमी सिर्फ धरती से ऊपर हवाई जहाज को उड़ते हुए देखता था क्योंकि वो जानता था कि वो खुद कभी आसमान में नहीं उड़ पाएगा। लेकिन देश के प्रधानमंत्री के दिमाग में कुछ और ही चल रहा था। हालांकि वो जानते थे कि इसके लिए व्यापक योजना बनानी पड़ेगी। मोदी ने सोचा क्यों न ऐसा हो कि चप्पल पहनने वाला भी हवा में उड़ने का आनंद उठा सके। प्रधानमंत्री ने अपनी इस सोच को जमीन में उतारने के लिए 2016 में 'उड़ान' योजना की शुरुवात की। इस योजना की शुरुआत से आम इंसान भी हवाई यात्रा करने लगा और दूर दराज के शहरों तक पहुंचना आसान हो गया।

इस तरह शुरू हुई यह योजना

उड़ान योजना की शुरुआत 21 अक्टूबर 2016 को आम लोगों के लिए हवाई यात्रा सुलभ और किफायती बनाने के उद्देश्य से की गई थी। योजना के तहत करीब 500 किमी की एक घंटे की यात्रा के लिए हवाई किराया 2,500 रुपये तक सीमित है। गौरतलब है कि इस योजना के बाद मुंद्रा (गुजरात) से अरुणाचल प्रदेश के तेजू तथा हिमाचल के कुल्लू से तमिलनाडु के सलेम तक उड़ान ने देशभर में कनेक्टिविटी बढ़ी है। इसके बाद दरभंगा, प्रयागराज, हुबली, बेलगाम, कन्नूर हवाईअड्डे इसी योजना के तहत ही अस्तित्व में आए।

मोदी ने एक्स पर डाली पोस्ट

इस अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट में कहा, “आज हम ‘उड़ान’ योजना के आठ वर्ष पूरे होने का जश्न मना रहे हैं, यह एक ऐसी पहल है जिसने भारत के विमानन क्षेत्र (एविएशन सेक्टर) को बदल दिया है। हवाई अड्डों की संख्या में वृद्धि से लेकर अधिक हवाई मार्गों तक, इस योजना ने करोड़ों लोगों को हवाई यात्रा की सुविधा सुनिश्चित की है। साथ ही, इसका व्यापार और वाणिज्य को बढ़ावा देने और क्षेत्रीय विकास को आगे बढ़ाने पर भी बड़ा प्रभाव पड़ा है। आने वाले समय में, हम विमानन क्षेत्र को मजबूत करते रहेंगे और लोगों के लिए बेहतर कनेक्टिविटी और आराम पर ध्यान केंद्रित करेंगे।”

इस योजना के 8 साल पूरे होने पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सोशल मीडिया पर लिखा है कि पीएम के विजन से प्रेरित पहल ने न केवल देश के दूरदराज के क्षेत्रों को हवाई मार्गों से जोड़ा है, बल्कि नए युग के भारत की महत्वाकांक्षाओं को भी उड़ान दी। योजना ने टियर 2 और टियर 3 शहरों में हवाई नेटवर्क को बढ़ाया है।

योजना का लाभ अगले 10 साल और बढ़ाया गया

केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री के राममोहन नायडू ने बताया है कि सरकार ने क्षेत्रीय हवाई संपर्क योजना उड़ान को अगले 10 साल तक बढ़ाने का फैसला किया है। यह घोषणा उड़ान योजना के 8 साल पूरे होने पर दिल्ली में की गई। इस योजना के तहत अब तक 601 मार्गों और 71 हवाई अड्डों का संचालन किया जा चुका है। इसकी शुरुआत 21 अक्टूबर, 2016 को की गई थी।

नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने कहा कुल 86 हवाई अड्डे (71 हवाई अड्डे, 13 हेलीपोर्ट और 2 जल हवाई अड्डे) चालू हो गए हैं। इससे 2.8 लाख से अधिक उड़ानों में 1.44 करोड़ से अधिक यात्रियों को सुविधा मिल रही है। इसी के साथ भारत में हवाई अड्डों की संख्या 2014 में 74 से बढ़कर 2024 में 157 हो गई है। साल 2047 तक इसका लक्ष्य 350-400 है।   

 

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