
बीते कुछ समय से मालदीव के साथ भारत के रिश्ते अच्छे नहीं रहे हैं। इनमें उतार-चढ़ाव देखा गया है। इस बीच मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू भारत के दौर पर पहुंचे हैं। पिछले वर्ष भारत विरोधी अभियान चलाकर मालदीव की सत्ता हासिल करने वाले राष्ट्रपति मुइज्जू अब भारत के साथ मुक्त व्यापार समझौता एफटीए करने, भारतीय यूपीआइ को स्वीकार करने, भारत को नया कंसुलेट खोलने की इजाजत देने, भारत की मदद से अपनी रक्षा क्षमता को मजबूत करने और ढांचागत क्षेत्र में भारतीय निवेश को बढ़ावा देने को तैयार हैं।
मुइज्जू ने भारतीय पर्यटकों को किया आमंत्रित
पहली बार भारत की आधिकारिक दौरे पर आए राष्ट्रपति मुइज्जू की सोमवार को पीएम नरेंद्र मोदी के साथ द्विपक्षीय बैठक हुई। इस बैठक में वह अपनी चीन समर्थक छवि से पूरी तरह से भिन्न दिखे। जिन-जिन मुद्दों पर वह भारत का विरोध करते रहे हैं, अब उन सभी क्षेत्रों में भारत के साथ सहयोग को वह बढ़ाने को तैयार हैं। उन्होंने भारत से ज्यादा पर्यटकों को आमंत्रित भी किया और पीएम मोदी के साथ ही वित्तीय संकट से जूझते उनके देश को उबारने के लिए भारतीय मदद की प्रशंसा भी की।
भारत-मालदीव के मध्य ‘करेंसी स्वैप समझौता’
मोदी-मोइज्जू की बैठक के दौरान दो घोषणाएं की गईं, सहयोग की तीन नई शुरुआत हुई और कुल पांच समझौतों पर हस्ताक्षर हुए। इसमें मालदीव के वित्तीय संकट को दूर करने के लिए कुल 6400 करोड़ रुपये का पैकेज को लेकर किया गया करेंसी स्वैप समझौता भी शामिल है। इस समझौते के तहत मालदीव की मुद्रा के बदले 40 करोड़ डॉलर और 3000 करोड़ रुपये भारतीय मुद्रा उपलब्ध कराई जाएगी। इस बेल आउट पैकेज से विदेशी मुद्रा संकट से जूझते मालदीव को भारी राहत मिलेगी।
क्या है करेंसी स्वैप डील
करेंसी स्वैप डील वित्तीय अनुबंध है। इसमें दो पक्ष एक निश्चित अवधि के लिए एक-दूसरे की मुद्राओं का आदान-प्रदान करते हैं। इस डील में दोनों पक्ष अपनी-अपनी मुद्राओं को निश्चित विनिमय दर पर एक साथ देते हैं और फिर उसी अवधि के अंत में मूल राशि को वापस ले लेते हैं।
करंसी स्वैप डील के फायदे
* यह डील विनिमय दर के उतार-चढ़ाव से होने वाले जोखिम को कम करने में मदद करती है।
* यह डील सीधे विदेशी मुद्रा बाजार में मुद्रा खरीदने की तुलना में अधिक लागत प्रभावी हो सकती है।
* यह डील अलग-अलग अवधियों और मुद्राओं के साथ अनुकूलित की जा सकती है।
समझिये कैसे होता है फायदा
उदाहरण के लिए, मान लीजिए किसी देश को डॉलर में भुगतान करना है और दूसरे को यूरो में। ऐसे में दोनों पक्ष एक करंसी स्वैप डील कर सकते हैं। पहला देश दूसरे को एक निश्चित राशि में डॉलर देगा और बदले में दूसरा देश पहले वाले को उसी मूल्य में यूरो देगा। एक निश्चित अवधि के बाद दोनों एक-दूसरे को मूल राशि वापस कर देंगे।
भारत व मालदीव के बीच मुक्त व्यापार समझौता
श्रीलंका के बाद मालदीव दूसरा पड़ोसी देश है जिसे भारत ने वित्तीय संकट से उबारा है। राष्ट्रपति मुइज्जू ने इसके लिए खास तौर पर भारत सरकार को धन्यवाद किया है। भारत के साथ रक्षा सहयोग के खिलाफ झंडा बुलंद करने वाले मुइज्जू ने पीएम मोदी के साथ मिलकर आर्थिक व समुद्री सुरक्षा साझेदारी का दृष्टि-पत्र जारी किया है जो दोनों देशों के बीच नये संबंधों का रोडमैप होगा। इसके तहत दोनों नेताओं ने घोषणा की है कि जल्द ही भारत व मालदीव के बीच मुक्त व्यापार समझौते को लेकर वार्ता शुरू की जाएगी। साथ ही विदेशी मुद्रा पर निर्भरता खत्म करते हुए दोनों देश आपसी मुद्रा में कारोबार को बढ़ावा देंगे।
नए रनवे का उद्घाटन
पीएम मोदी ने कहा कि हमने मालदीव में इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास के लिए व्यापक सहयोग पर बात की है। हनीमाधु अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट पर भारत की मदद से निर्मित नये रनवे का उद्घाटन किया है। ग्रेटर माले कनेक्टिविटी प्रोजेक्ट को और तेज किया जाएगा। साथ ही थिलाफुसी में एक नये कमर्शियल पोर्ट के विकास में भी सहयोग दिया जाएगा। भारत की मदद से निर्मित 700 से ज्यादा सोशल आवासों की चाबी भी मालदीव को सौंपी गई है। मालदीव के 28 आइलैंड्स पर पानी और सीवरेज प्रोजेक्ट्स पूरे किये गए हैं। छह अन्य आइलैंड्स पर भी शीघ्र काम पूरा किया जाएगा।
रक्षा प्लेटफॉर्म व दूसरी सुविधाएं उपलब्ध
इन परियोजनाओ के अलावा मालदीव में रुपे कार्ड को स्वीकार करने की लॉन्चिंग भी हुई। पीएम मोदी ने बताया कि आने वाले समय में यूपीआई भी मालदीव में स्वीकार होगा। सोमवार को रक्षा व सुरक्षा सहयोग पर दोनों नेताओं के बीच काफी विस्तार से वार्ता हुई। भारत के कुछ सैन्यकर्मियों के मालदीव में उपस्थिति को राजनीतिक मुद्दा बनाने वाले मुइज्जू इस बात पर राजी हुए कि मालदीव की प्राथमिकताओं के हिसाब से भारत उसे रक्षा प्लेटफॉर्म व दूसरी सुविधाएं उपलब्ध कराएगा।
हिंद महासागर में समृद्धि के लिए मिलकर करेंगे काम: नरेंद्र मोदी
भारत मालदीव की सेना को रडार सिस्टम व दूसरे उपकरण भी देगा। जल-सर्वेक्षण से जुड़ी ट्रेनिंग व समुद्र निगरानी संबंधी क्षमता विस्तार में भी भारत मदद करेगा। पीएम मोदी ने कहा कि हम मालदीव नेशनल डिफेन्स फोर्सेस की ट्रेनिंग और क्षमता निर्माण में अपना सहयोग जारी रखेंगे। हिंद महासागर क्षेत्र में स्थिरता और समृद्धि के लिए हम मिलकर काम करेंगे।
संक्षेप में जानिए, मोदी-मुइज्जू वार्ता में किए गए फैसले
* मुक्त व्यापार समझौते पर वार्ता शुरू करेंगे भारत-मालदीव।
* रुपे कार्ड चलेगा मालदीव में, यूपीआइ की भी होगी शुरुआत।
* रक्षा सहयोग बढ़ाने पर बनी सहमति, समुद्री सुरक्षा पर खास जोर।
* दोनों देश एक दूसरे के यहां नए कंसुलेट खोलेंगे।
* मालदीव में भारतीय मदद से ढांचागत निर्माण का काम तेज होगा।
* भारत की मदद से मालदीव में तैयार नए रनवे की शुरुआत।