इंक्रेडिबल इंडिया : इस मदरसे में लगते हैं भारत माता के जयकारे

शारीरिक रूप से दिव्यांग और इस मदरसे के चालीस वर्षीय संचालक अयाज फारूकी बताते हैं कि वे अपने मदरसे के बच्चों को भारतीयता की सीख देते हैं। यही कारण है कि वे अपने मदरसे में नियमत: रोज राष्ट्रगान करवाने के बाद भारत माता के जयकारे भी लगवाते हैं। इसके बाद ही बच्चे अपनी पढ़ाई शुरू करते हैं। अयाज की इस पहल को स्थानीय मीडिया में भी काफी सराहा गया है। वहीं, बच्चों के माता-पिता भी इसमें कोई बुराई नहीं समझते हैं। जी हां, इंक्रेडिबल इंडिया का यह बेहतरीन उदाहरण है।
वहीं, उनके मदरसे में पढ़ने के आने वाले एक छात्र हसन मलिक ने 'इंडियावेव' को फोन पर बताया कि उसके यहां भारत माता की जय आदि को लेकर कभी कोई विवाद नहीं हुआ है। संचालक भी यही कहते हैं कि देश का सम्मान करना ही सबसे बड़ी नागरिकता है। जब हसन से पूछा गया कि आप जब भारत माता की जय के नारे लगाते हैं तो आपके घरवालों की क्या प्रतिक्रिया रहती है तो उन्होंने बताया कि उनके घर पर कभी भी इसे लेकर कोई सवाल नहीं किया गया।
बता दें कि अनवारूल मदरसे में वंदे मातरम का पाठ भी किया जाता है। यही नहीं मदरसा संचालक अयाज अपने यहां आने वाले कमजोर वर्ग के बच्चों को भी काफी मदद करते हैं। वे कई बच्चों को नि:शुल्क शिक्षा भी देते हैं। इसके लिए उनके परिवार के सभी सदस्य काफी योगदान करते हैं। सभी अयाज की इस सोच का समर्थन करते हैं। उनका कहना है कि जिस देश में बच्चे का जन्म हुआ है यदि यहीं का सम्मान करना वे नहीं सीखेंगे तो देश का विकास कभी नहीं होगा। ऐसे में उन्होंने राष्ट्रगान, वंदे मातरम और भारत माता के जयकारों को धर्म के चश्मे से देखना छोड़ दिया है। वे इसे सिर्फ एक भारतीय की नजर से देखते हैं मानते हैं। हालांकि, इन मसलों पर आए दिन होने वाले विवाद को लेकर उन्होंने कुछ भी कहने से इंकार कर दिया।
संबंधित खबरें
सोसाइटी से
अन्य खबरें
Loading next News...
