बगैर ऑपरेशन डॉक्टर्स ने कर दिया यह कारनामा, देश के इतिहास में दर्ज हुई उपलब्धि

देश के डॉक्टरों ने ऐसा कारनामा किया है, जो हर कहीं चर्चा का विषय बना हुआ है। दिल्ली में डॉक्टरों ने बगैर ऑपरेशन किए दिल का वॉल्व बदल दिया है। ये अपने आप में एक बड़ी उपलब्धि है। अभी तक ऑपरेशन के बगैर एंजियोप्लास्टी सर्जरी करना संभव नहीं था, इसके साथ ही मरीज को कार्डियोपल्मोनरी बायपास पर रखना मुमकिन नहीं था, लेकिन डॉक्टरों ने एक तरह से चमत्कार करते हुए मरीज के दिल का वॉल्व बदल दिया है। आपको बता दें ये उपलब्धि हासिल करने वाले दिल्ली के फोर्टिस अस्पताल के डॉक्टर हैं। जिन्होंने मिट्राक्लिप तकनीक की सहायता से 69 साल के मरीज का इलाज किया है। देश में ऐसा पहली बार संभव हुआ है। डॉक्टरों ने ये इलाज कैथेटर आधारित नॉन सर्जिकल प्रक्रिया से पूरा किया है।
विपरीत परिस्थितयों में किया ऑपरेशन
ये उपलब्धि अपने आप इसलिए भी अनोखी है, क्योंकि मरीज के साथ पहले से ही कई दिक्कतें थीं। मरीज के वॉल्व से एयर निकल रही थी जिसकी वजह से उसकी सांसें फूलने और हार्ट फेल होने की शिकायतें सामने आ रही थीं। इतना ही नहीं, मरीज की 13 साल पहले बायपास सर्जरी भी हो चुकी थी। मरीज का दिल वॉल्व में रिसाव के कारण फूल रहा था। ऐसी स्थिति में वॉल्व को ठीक करने के दौरान खतरा काफी ज्यादा होता है।
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इस बारे में फोर्टिस अस्पताल के चेयरमैन डॉ. अशोक सेठ ने बताया कि मिट्राक्लिक तकनीक दिल के अंदर वॉल्व की मरम्मत करने की कैथेटर आधारित नॉन-सर्जिकल प्रक्रिया है। यह काफी जटिल भी है, इसमें मरीज के ग्रॉइन के अंदर बड़ी रक्तवाहिका के माध्यम से स्पेशल कैथेटर को दिल के दाएं चैंबर से होते हुए बाएं चैंबर में डाला जाता है। न्यू इंग्लैंड जर्नल ऑफ मेडिसिन में प्रकाशित सीओएपीटी परीक्षण से इस तकनीक के बारे में कई बातें सामने आई हैं। रिपोर्ट में बताया गया है कि मिट्राक्लिक तकनीक से मरीज को दो साल का जीवनदान मिल सकता है। इस तकनीक में मरीज को एक या दो दिनों के अंदर ही अस्पताल से छुट्टी दे दी जाती है।
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