जम्मू ट्रैफिक आईजी नए अंदाज में सुधार रहे शहर की ट्रैफिक व्यवस्था, फैंस बता रहे ‘सिंघम’
जम्मू-कश्मीर में आजकल एक पुलिस अधिकारी की खूब तारीफ हो रही है। कानून को लागू कराने की उनकी प्रतिबद्धता को देखते हुए लोग उनकी तुलना ‘सिंघम’ और ‘दबंग’ जैसे फिल्मी कैरेक्टरों से करने लगे हैं।
अपने अक्सर फिल्मों में ही ऐसा देखा होगा कि कोई पुलिसवाला सिंघम के स्टाइल में पूरे शहर की दशा को सुधारने में लगा हो। गलत करने वालों के में उसके नाम का खौफ पूरे शहर की हवाओं में इस कदर हो की नाम से ही डर लगे। लेकिन यहां मामला कुछ अलग है। जम्मू कश्मीर के ट्रैफिक आईजी बंसत रथ के नाम से ट्रैफिक नियम तोड़ने वाले डरते हैं। अब हर कोई टैफिक नियम का पालन करने लगा है।
शहर को ट्रैफिक का नया सबक सिखाने वाले आईजी यातायात बसंत रथ कभी-कभी रॉबिनहुड की भूमिका में आ जाते हैं। वे ट्रैफिक एसएचओ या कांस्टेबल को बुलाते हैं और दिन भर की उसकी कमाई जेब से निकलवा कर बच्चों में चाकलेट बंटवा देते हैं। लेकिन बदले में बच्चों को ट्रैफिक के नियम सीखने पड़ते हैं।
सड़कों पर ट्रैफिक व्यवस्था सुधारते दिखते हैं बसंत रथ
बसंत खुद सड़कों पर ट्रैफिक व्यवस्था सुधारते दिखते हैं। एक हाथ में प्लास्टर बांधे जहां रथ पहुंचते हैं वहां पब्लिक मजमा लगा लेती है। वे खुद ही नियम तोड़ने वाली गाड़ियों का चालान काटने लगते हैं।
ट्रैफिक व्यवस्था में हुआ सुधार
बसंत रथ के आने से जम्मू में पिछले एक हफ्ते में शहर की ट्रैफिक व्यवस्था में सुधार दिख रहा है। इससे पहले जम्मू का ट्रैफिक सच में अराजक हो गया था। रेड लाइट पर अब वाहन रुकते हैं। जेब्रा क्रासिंग को अब सिर्फ पैदल लोग ही पार करते हैं। पीली लाइन के आगे जाने की कोई हिमाकत नहीं करता। इन सभी का कारण आईजी ट्रैफिक बसंत रथ हैं।
पुलिस वाले भी करने लगे रूल फालो
कब किस ओर से बसंत रथ आ जाएं इस डर से लोग घरों से हेलमेट पहन कर निकल रहे हैं। आम आदमी तो छोड़िए जनाब खुद पुलिस वाले भी सारे ट्रैफिक रूल फालो करते दिख रहे हैं।
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