गंगा - जमुनी तहजीब की मिसाल बना लखनऊ, होली के लिए मौलवियों ने बदला नमाज का समय

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में आपसी सौहार्द व शांति बनाए रखने के लिए 2 मार्च को जुमे यानि होली वाले दिन नमाज का समय बदला गया है। यह फैसला शिया और सुन्नी मौलवियों ने मिलकर लिया है। लखनऊ में हर शुक्रवार को दो बड़ी मस्जिदों में सामूहिक जुमे की नमाज होती है उसके समय में भी परिवर्तन किया गया है।
सुन्नी मौलवी मौलाना खालिद रशीद फरंगी महली ने मुसलमानों से गुजारिश की है कि वे शुक्रवार को होली के दिन होने वाली जुमे की नमाज को डेढ़ घंटा आगे कर दें। टाइम्स आॅफ इंडिया की खबर के मुताबिक, ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के कार्यकारी सदस्य फरंगी महली ने बताया कि जिन इलाकों में मिली-जुली आबादी है उन इलाके की मस्जिदों से अनुरोध किया गया है कि वे मस्जिद में नमाज का समय दोपहर 1 बजे के बाद रखें।
शिया मौलवी मौलाना कल्बे जवाद ने बताया कि बड़ा इमामबाड़ा में होने वाली जुमे की नमाज का समय 30 मिनट बढ़ाया गया है। 2 मार्च शुक्रवार को ऐशबाग ईदगाह में नमाज का समय दोपहर 12 बजकर 45 मिनट है उसे एक घंटा बढ़ाकर 1 बजकर 45 मिनट किया गया है। वहीं बड़ा इमामबाड़ा की असफी मस्जिद में नमाज-ए-जुमा का समय दोपहर 12 बजकर 22 मिनट है, शिया समुदाय के लोगों के लिए यहां 1 बजे नमाज होगी।
एक दिन पहले ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने होली पर कानून व्यवस्था को लेकर समीक्षा की थी। उन्होंने अधिकारियों से कहा था कि मौलवियों से बात की जाए कि क्या वे उनकी जुमे की नमाज का समय बदल सकते हैं ताकि होली शांतिपूर्ण ढंग से निपट सके।
फरंगी महली ने बताया कि होली के दिन रंग खेलने का आधिकारिक समय दोपहर 12 बजे तक का है लेकिन सामान्यता लोग देर तक होली खेलते हैं। ऐसे में बेहरतरी के लिए मिलीजुली आबादी वाले क्षेत्र में आने वाली मस्जिदों में नमाज का समय बदलना ज्यादा बेहतर है।
मौलवी ने कहा कि पिछली बार हिंदुओं ने जगन्नाथ यात्रा का समय 2 घंटे आगे कर दिया था क्योंकि उस दिन बकरीद थी और यात्रा ईदगाह के सामने से निकलनी थी। जब हिंदुओं ने मुस्लिमों के त्योहार का सम्मान किया तो मुस्लिम भी उनके त्योहार का सम्मान करेंगे।
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