ज्योतिष के अनुसार कोरोना वायरस से बचाव एवं उपाय
Posted By: Ashutosh Ojha
Last updated on : March 06, 2020

चीन, जापान, अमेरिका, द. कोरिया, इटली, भारत के समेत विश्व के 80 देश इस समय कोरोना नामका वायरस के खौफ में जी रहे हैं। हर देश अपने अपने नागरिकों की सुरक्षा के लिए पूरे बचाव कार्य कर रहा है। लेकिन विश्व के सामने कोरोना ने जिस तरह से मौत का मुँह खोला है उससे सभी देश हतप्रभ है।
इस भयंकर वायरस से बचने के लिए भारतीय सनातन परंपरा में ज्योतिष के अनुसार भी उपाय दिए जा रहे हैं। लखनऊ के प्रसिद्ध ज्योतिषाचार्य आचार्य देव ने एक शोध के बाद कोरोना वायरस से बचने के कुछ सुझाव दिए है जिसके अनुसार आप अपनी सुरक्षा कर सकते है।
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आचार्य देव के अनुसार जिस व्यक्ति की कुंडली के छठे भाव में चंद्रमा हो या द्वादश में चंद्रमा हो, उस व्यक्ति को ज्यादा सावधान रहने की जरुरत है। इसके साथ ही यदि व्यक्ति की जन्म कुंडली में विंशोत्तरी दशा में अगर प्रत्यांतर दशा में राहु चल रहा हो तो उस व्यक्ति के कोरोना से संक्रमित होने की सम्भावना ज्यादा है। उसका कारण क्या है ये भी हम आपको बता रहे है।
चंद्रमा स्वास का कारक होता है, और अगर वो छठे गृह में बैठा है तो वो रोग का कारक होता है। लेकिन वह जन्म कब देगा यह बार राहु गृह बताता है। राहु वास्तव में संक्रमण का कारक होता है। जो आदमी संक्रमित होता है वो कहीं न कहीं प्रत्यांतर दशा में या उसकी राहु की दशा चल रही होगी। ऐसा हम इसलिए कह रहे हैं क्यों कि हमने इस पर शोध भी किया है।
ऐसा हम अक्सर देखते भी है जब जब आपके जन्मपत्री में राहु आता है तो व्यक्ति संक्रमित जरूर होता है। तो हमें इस चीज का ध्यान रखना पड़ता है कि जन्मपत्री में अगर छठे स्थान पर चन्द्रमा तो नहीं है, द्वादस में तो नहीं है और अगर है भी तो उसको क्या राहु की दशा प्रत्यंतर दशा में राहु की चल रही है। अगर चल रही है तो ज्योतिष के उपचार को आप अपना सकते है जिससे आपको लाभ मिलेगा।
ज्योतिष के अनुसार उपचार
राहु को ठीक करने के लिए दरअसल राहु अंधकार का कारक होता है। और अन्धकार को सिर्फ प्रकाश ही मार सकता है। तो हमको सूर्योदय से पहले उठना पड़ेगा। भगवान् सूर्य जो प्रकाश के सबसे बड़े देवता कहे जाते है, हमें उनकी उपासना करनी होगी। तो हमें सिर्फ सूर्योदय से पहले उठना है और सूर्य के सामने प्राणायाम करना है। और स्नान करने के बाद आपको संख बजाना चाहिए, संख बजाने से चंद्रमा भी मजबूत होगा। और अगर आपको सांस से सम्बंधित कोई समस्या होगी तो वो भी ठीक हो जायेगी। और अगर घर में संख नहीं है तो गायत्री मन्त्र का 11 बार जप करना (उच्चारण) चाहिए। इससे आप इन्फेक्शन से बच सकते है।
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