ग्राम रोजगार सेवकों का मानदेय 10000 रुपये करने पर सरकार कर रही विचार: मोती सिंह
अपनी मेहनत के जरिए गांवों में रोजगार के सृजन में अहम भूमिका निभाने वाले रोजगार सेवकों को सरकार तोहफा देने जा रही है। अब इन लोगों के मानदेय में सरकार बढ़ोत्तरी कर सकती है। आज उत्तर प्रदेश के ग्राम्य विकास मंत्री ने कहा है कि कोरोना महामारी के समय ग्राम रोजगार सेवकों द्वारा विपरीत परिस्थितियों में भी सराहनीय तरीके से कार्य किया गया है।
यूपी के विधानपरिषद में भाजपा की बढ़ी संख्या, निर्विरोध निर्वाचित हुए प्रत्याशी
ग्राम रोजगार सेवक प्रदेश के विकास में अपनी महत्वपूर्ण सहभागिता निभा रहे हैं। उन्होंने कहा कि मनरेगा के तहत संविदा पर कार्यरत ग्राम रोजगार सेवकों का पारिश्रमिक 6000 रूपये से बढ़ाकर 10,000 रूपये प्रतिमाह करने की पूरी कोशिश की जायेगी। उन्होंने कहा कि ग्राम रोजगार सेवकों को चिकित्सीय सुविधा उपलब्ध कराने के सम्बन्ध में विचार किये जाने के साथ ही उनकी अन्य समस्याओं का भी शीघ्र निराकरण करने का पूरा प्रयास किया जायेगा।
ग्राम्य विकास मंत्री राजेन्द्र प्रताप सिंह ‘मोती सिंह‘ ने आज उत्तर प्रदेश ग्राम रोजगार सेवक संघ के प्रादेशिक महासम्मेलन में कहा कि ग्राम रोजगार सेवकों की मेहनत से मानव दिवस सृजन के मामले में उल्लेखनीय कार्य हुआ है। उन्होंने कहा कि मनरेगा कर्मियों के भविष्य को उज्ज्वल करने के लिए वह कोई कसर नहीं छोड़ेंगे। उन्होंने कहा कि इसके अलावा एचआर पॉलिसी बनाने पर भी विचार किया जायेगा और पूर्व से निर्गत शासनादेशों को कड़ाई से लागू कराया जाएगा।
यूपी सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता में खेत-खलिहान और किसान
सोसाइटी से
अन्य खबरें
Loading next News...