भारत को जानने के लिए इस लड़के ने 9 महीने में घूम लिए 11 राज्य, वो भी मुफ्त

इंसान का शौक अगर जुनून में बदल जाए तो उसे पूरा होने से कोई नहीं रोक सकता है! ऐसे ही एक जुनूनी इंसान की कहानी हम आपको बताने जा रहे हैं। आंध्र प्रदेश में अनंतपुर के रहने वाले विमल कुमार को घुमक्कड़ी को ऐसा शौक लगा कि वो 9 महीने में भारत के 11 राज्य घूम चुके हैं, यही नहीं इस दौरान उनके पैसे न के बराबर खर्च हुए।
क्या है विमल की कहानी?
विमल गीतानंदन एक मध्यमवर्गीय परिवार से ताल्लुक रखते हैं। उनके पास ट्रेवलिंग करने के लिए किसी भी प्रकार की आमदनी नहीं थी। आंध्र प्रदेश के अनंतपुर में रहने वाले विमल के परिवार में सिर्फ मां और एक बहन हैं। वे सरकारी कॉलेज से पढ़े हैं और उनका ट्रेवलिंग का फैसला को कई लोगों पसंद नहीं था, लेकिन वे उसे रोक नहीं सके। विमल बताते हैं, 'मैं हमेशा से अजीब किस्म का बच्चा था। जब मैं 10वीं में था, तब मैंने ट्यूशन पढ़ना शुरू किया। फिर मैंने स्टार्टअप शुरू किया। इसके बाद म्यूजिक कम्पोज और शॉर्ट फिल्म तैयार करने लगा। इंजीनियरिंग कॉलेज से ड्रॉप आउट विमल कुमार एक कवि, एक संगीतकार हैं। इसके अलावा वह 5 भाषाओं जानकार भी हैं। लेकिन वो सबसे पहले एक घुमक्कड़ हैं।
विमल ने मां को अपने शौक के बारे में बताया
मेरी मां जानती थी कि मैं कैसे भी सर्वाइव कर सकता हूं, इसलिए वे एक शर्त पर मेरा फैसला मानने तैयार हुईं कि मैं कहीं भी जाऊं पर हमेशा उनके संपर्क में रहूं। विमल बताते हैं कि उनके रिश्तेदार उन्हें कभी समझ नहीं सके। वे कहते थे कि तुम पागल होते जा रहे हो। कोई जॉब क्यों नहीं कर लेते ? ' हालांकि अब उनके विचार बदल गए हैं वे मुझे एक नए तरह से देख रहे हैं। "
11 राज्य घूम चुके हैं विमल
विमल देश के 11 राज्य में नौ माह के भीतर ट्रेवलिंग कर ली, वो भी बिना पैसे खर्च किए। इंजीनियरिंग की पढ़ाई बीच में छोड़ देने वाले ट्रेवलर ने करीब 20 किमी की यात्रा दूसरों की बाइक, पब्लिक ट्रांसपोर्ट की बस, ट्रक और ट्रेन से पूरी की। विमल ने बताया कि जब मैं कॉलेज में था, तभी सोच लिया कि अपना ट्रेवलिंग का जुनून जरूर पूरा करूंगा। फिर हमेशा बहुत सारे सवाल जैसे- कैसे जाना है? क्या यह संभव है?
स्टेशनों पर सोए, खूब धक्के खाए
इस दौरान उन्होंने कई स्थानों पर कैंप किया, जो कुछ खाने मिला उससे पेट भरा। विमल ने डेढ़ साल तक यात्रा करने की प्लानिंग बनाई थी, लेकिन उनके परिवार को किसी वजह से बेंगलुरु शिफ्ट होना पड़ा, इसलिए वे नौ महीने के बाद वापस आ गए। घूमने-फिरने के शौकीन विमल ने बताया, जब आप सड़क पर होते हैं तो सब कुछ अपने आप से, हर कदम पर सीखने को मिलता है। उन्हें किसी ने उसे खेती सिखाई, एक और ने फोटोग्राफी सिखाई और एक ने ब्लॉगिंग। उन्होंने दक्षिण भारत के 6 राज्यों समेत महाराष्ट्र, मेघालय, असम, नागालैंड और पश्चिम बंगाल की यात्राएं कर ली हैं।
रेड लाइट एरिया में पहुंचा
विमल के मुताबिक, यह केवल यात्रा ही नहीं बल्कि बहुत कुछ देखने-समझने को मिला। उदाहरण के लिए जब मैं कोलकाता के सोनागाची में गया, जो दक्षिण एशिया का सबसे बड़ा रेड लाइट एरिया है। वहां मैंने सेक्स वर्कर्स की स्थिति और संघर्ष देखा है। और ऐसी कई कहानियां हैं जिनसे मुझे प्रभावित किया, मैं उनके जिंदगी में परिवर्तन करना चाहता हूं।
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