महज तीन दिन में इस युवा पर्वतारोही ने फहराया औसी-10 चैलेंज पर तिरंगा

एक के बाद एक रिकॉर्ड बना रहे हरियाणा के पर्वतारोही व एवरेस्ट विजेता नरेंद्र यादव ने फिर से कारनामा कर दिखाया है। उन्होंने महज तीन में ही औसी-10 चैलेंज को फतेह करके भारतीय तिरंगा फहराया। इस चैलेंज के तहत आस्ट्रेलिया महाद्वीप की 10 सबसे ऊंची चोटियों पर नरेंद्र यादव ने तिरंगा लहराया। यहां पर तिरंगा फहराने के बाद उन्होंने एक बार फिर से रिकॉर्ड बनाया है। युवा पर्वतारोही नरेंद्र यादव ने यह चैलेंज 21 दिसंबर से शुरू किया और 23 दिसंबर को चैलेंज फतेह कर लिया। यही नहीं नरेंद्र यादव ने इस अभियान के तहत 'बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ' और 'स्वच्छ भारत-स्वस्थ भारत' का भी संदेश दिया। बता दें कि नरेंद्र यादव ने 2016 में दुनिया की सबसे ऊंची चोटी एवरेस्ट को फतेह किया था।
ग्रुरुग्राम के उपायुक्त ने की मदद
गुरुग्राम में पढ़ने वाले छात्र नरेंद्र यादव ने औसी-10 चैलेंज को यहां के उपायुक्त विनय सिंह के सहयोग से पूरा किया है। आस्ट्रेलिया के न्यू साउथ वेल्स में स्थित माउंट कॉस्किओस्को ऑस्ट्रेलियाई महाद्वीप पर सर्वोच्च पर्वत है। यह शिखर समुद्र स्तर से 7,310 फीट ऊंचा है। नरेंद्र यादव ने इसको महज तीनों में ही फतेह किया है। उन्होंने इस अभियान में 58 किलोमीटर की दूरी तय करते हुए लगभग 20 दर्रों को पार किया हैं। नरेंद्र यादव के साथ इस अभियान के लिए अलग-अलग देशों के 10 पर्वतारोही शामिल हुए थे। सभी ने चोटी पर अलग-अलग दल के साथ चढ़ाई की। बता दें कि अभी वह इंदिरा गांधी विश्वविद्यालय रेवाड़ी से एलएलबी कर रहे हैं।
यह भी पढ़ें: पढ़िए, महाराष्ट्र के इस वॉटरमैन की कहानी, जो लातूर में लाया हरियाली
यह भी बनाया रिकॉर्ड
पर्वतारोही नरेंद्र यादव ने इससे पहले दक्षिण अफ्रीका की सबसे ऊंची चोटी किलिमंजारो को महज 17 घंटे में चढ़ाई पूरी की थी। नरेंद्र का दावा है कि उन्होंने मात्र 17 घंटे में इसे पूरा कर सबसे जल्दी ऊपर चढ़ने का रिकॉर्ड कायम किया। यही नहीं सबसे जल्दी उतरने का रिकॉर्ड भी उन्होंने तोड़ा। किलिमंजारों से उतरने का रिकॉर्ड अभी तक 20 घंटे का था, जिससे नरेंद्र ने महज 9 घंटे 7 मिनट में उतरकर तोड़ दिया है।
बचपन से रहा पर्वतारोही का शौक
नरेन्द्र यादव को बचपन से ही ऊंचे पहाड़ों पर चढ़ने का शौक रहा है। नरेंद्र यादव ने स्कूली पढ़ाई के दौरान ही 12 साल की उम्र में ही जम्मू-कश्मीर की पहाड़ियों पर चढ़कर पर्वतारोहण का शौक शुरू किया था। उन्होंने 2008 से नियमित तौर पर पर्वतारोहण का अभ्यास शुरू किया था। इसके बाद महज 19 वर्ष की उम्र में नरेंद्र यादव ने 6512 मीटर ऊंची भागीरथी-टू व 5612 मीटर ऊंची डीकेडी-टू के साथ कालिंदी पास व वासुकी ताल पास, लेह, गढ़वाल चोटी को फतेह करके हरियाणा से सबसे कम उम्र के पर्वतारोही बनने का गौरव प्राप्त किया। इसको लेकर नरेंद्र यादव का नाम गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड ऑफ बुक में भी दर्ज हो चुका है।
यह भी पढ़ें: रेतीले इलाके में सेब उगाकर इस किसान ने असंभव को किया संभव, कृषि वैज्ञानिक भी हैरान
रेवाड़ी के रहने वाले हैं नरेंद्र यादव
एवरेस्ट फतेह कर चुके नरेंद्र यादव रेवाड़ी के नेहरूगढ़ के रहने वाले हैं। साधारण परिवार में जन्में नरेंद्र यादव का सपना दुनिया की सातों चोटियों को फतेह करना चाहते हैं। इस तरफ उन्होंने अपने कदम बढ़ा भी दिए। नरेंद्र के पिता कृष्ण चंद आर्मी में हैं और माता रोशनी गृहिणी हैं। 12 वर्ष की उम्र से ही कुछ अलग करने की सोच रखने वाला यह युवक एक साथ में माउंट एवरेस्ट व लौथसे को फतेह कर चुका है।
यह भी पढ़ें : जर्मनी का ये शख्स सुधार रहा बेंगलुरु की ट्रैफिक व्यवस्था
संबंधित खबरें
सोसाइटी से
अन्य खबरें
Loading next News...
