महाकुंभ 2025 की तैयारियां तेज हो गई हैं। केंद्र और प्रदेश सरकार के लगभग एक दर्जन विभाग तैयारी में जुट गए हैं। पर्यटन विभाग महाकुंभ मेला में जहां टेंट सिटी, टेंट कालोनी बसाएगा तो पर्यटकों को अन्य विशेष सुविधा भी उपलब्ध कराएगा। इतना ही नहीं श्रद्धालुओं को वर्ल्ड क्लास स्वास्थ्य सेवा भी उपलब्ध कराई जाएगी।
इस बार महाकुंभ में 1.5 लाख अस्थाई शौचालय भी बनाए जाएंगे। साथ ही 10 हज़ार सफाई कर्मचारी 24 घंटे सफाई करने के लिए तैनात रहेंगे। इन कर्मचारियों के रहने के लिए अस्थाई कालोनी भी बनाई जाएगी। मुख्यमंत्री योगी ने सबही मानक पूरे करने के निर्देश दिये हैं। स्वच्छता के लिए सक्शन गाड़ियां लगाई जाएंगी और स्वच्छता वाहनों की जीपीएस से निगरानी भी की जाएगी।
महाकुंभ में आने वालों को बेहतर सुविधाएं देने के लिए 300 से अधिक सक्शन गाड़ियां और जेट स्प्रे सफाई प्रणाली का इस्तेमाल किया जाएगा. शौचालयों की सफाई लिए क्यूआर कोड के जरिए सेवा स्तर की निगरानी की जाएगी। कुंभ मेला स्थल पर 25 हजार से अधिक लाइनर बैग युक्त डस्टबिन रखे जाएंगे जिन्हें प्रतिदिन. तीन बार बदला जाएगा।
महाकुंभ के दौरान 10 हजार 200 कर्मियों की तैनाती होगी। ये कर्मचारी 850 समूहों में दिन रात काम करेंगे। सफाई कर्मचारियों के लिए अस्थाई कालोनी भी बनाई जाएगी।
मेला क्षेत्र में पड़ने वाले सीएचसी-पीएचसी को किया जाएगा अपग्रेड
अगर स्वास्थ्य सेवाओं की बात करें तो महाकुंभ में स्वास्थ्य संबंधी 18 प्रोजेक्ट पर करीब 125 करोड़ रुपये की धनराशि खर्च की जा रही है। इससे मेला क्षेत्र, प्रयागराज शहर के अस्पताल और मेला क्षेत्र के रास्ते में पड़ने वाले सीएचसी-पीएचसी को अपग्रेड किया जा रहा है। साथ ही इन्हे हाइटेक टेक्नोलॉजी से लैस किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर श्रद्धालुओं को बेहतर स्वास्थ्य सेवा उपलब्ध कराने के लिए मेला क्षेत्र में 43 अस्थायी अस्पताल बनाए जाएंगे, जबकि शहर के चार अस्पतालों में 305 बेड रिजर्व किये जाएंगे। वहीं आकस्मिक सेवाओं के लिए 24 घंटे डॉक्टर्स और पैरामेडिकल स्टाफ तैनात रहेंगे।
मेला क्षेत्र में स्थापित किये जाएंगे 380 बेड के 43 अस्थायी अस्पताल
ज्वाइंट डायरेक्टर स्वास्थ्य डॉ. विवेक कुमार मिश्रा ने बताया कि श्रद्धालुओं की सुविधा को देखते हुए महाकुंभ मेला क्षेत्र को 25 सेक्टर में बांटा गया है। ऐसे में इसे ध्यान में रखते हुए मेला क्षेत्र में 380 बेड के 43 अस्थायी अस्पताल बनाए जा रहे हैं। इनमें 100 बेड का एक अस्थायी सेंट्रल अस्पताल, 25-25 बेड के दो अस्थायी सब सेंट्रल अस्पताल, 20-20 बेड के दो अस्थायी संक्रामक रोग के अस्पताल और 8 सेक्टर में 20-20 बेड के एक-एक अस्थायी अस्पताल शामिल हैं।
यह अस्पताल मेला क्षेत्र के लगभग तीन सेक्टर कवर करेंगे। इसके अलावा एक-एक बेड के 10 फस्ट एड पोस्ट और 20 आउट हेल्थ पोस्ट स्थापित किये जा रहे हैं। यह आउट हेल्थ पोस्ट पार्किंग स्थल, स्टॉल समेत अन्य स्थानों पर स्थापित किये जाएंगे। इसके लिए 14.25 लाख की धनराशि खर्च की जा रही है। साथ ही मेला क्षेत्र में वेक्टर जनित रोगों पर अंकुश लगाने के लिए 10 करोड़ रुपये खर्च किये जाएंगे। वहीं इन अस्पतालों में भर्ती मरीजों के खाने-पीने, सर्जिकल आइटम्स, दवाइयों के लोकल परचेज समेत अन्य मदों में 12.73 लाख रुपये खर्च किये जा रहे हैं। इसके अलावा मेला क्षेत्र के रास्ते में पड़ने वाले 12 सीएचसी, 3 पीएचसी, एक पोस्टमार्टम हाउस के अपग्रेडेशन और ड्रग वेयर हाउस के लिए कुल 21.24 लाख रुपये खर्च किये जा रहे हैं।
मेला क्षेत्र में तैनात होंगे 407 डॉक्टर्स, 24 घंटे मौजूद रहेंगी गायनेकोलॉजिस्ट
कुंभ मेला अधिकारी विजय किरण आनंद ने बताया कि मेला क्षेत्र में श्रद्धालुओं को 24 घंटे स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराने के लिए 407 डॉक्टर्स की तैनाती की जा रही है। इसके साथ ही 182 नर्सिंग स्टाफ, 150 वार्ड ब्वाय, 354 फार्मासिस्ट और 60 लैब टेक्नीशियन की तैनाती की जाएगी। उन्होंने बताया कि महाकुंभ में बड़ी संख्या में महिला श्रद्धालुओं के आने की संभावना है। ऐसे में उन्हे बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के लिए विशेष इंतजाम किये जा रहे हैं।
मेला क्षेत्र के अस्पताल में तीन शिफ्ट में 48 महिला चिकित्सक अपनी सेवाएं देंगी। वहीं सेंट्रल अस्पताल में लेबर रूम की स्थापना की जा रही है। इसके अलावा मेला क्षेत्र में 24 घंटे गायनेकोलॉजिस्ट भी तैनात रहेंगी। साथ ही 40 स्पेशलिस्ट डॉक्टर्स की टीम पर रहेगी। इसके अलावा सीएचसी और पीएचसी में भी 24 घंटे आकस्मिक सेवाएं उपलब्ध रहेगी। यहां पर एक्स्ट्रा दवाइयां, मरहम-पट्टी समेत अन्य चीजों के पर्याप्त इंतजाम करने के निर्देश दिये गये हैं।