पूरे उत्तर भारत में इस वक्त जबरदस्त गर्मी पड़ रही है.। पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, पूर्वी और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में लू को लेकर अलर्ट जारी किया गया है। पंजाब में गर्मी को देखते हुए स्कूलों को बंद करने का आदेश जारी किया गया है। गर्मी और लू से सबसे अधिक प्रभावित बच्चे और बुजुर्ग होते हैं। बुजुर्ग तो यह बता देते हैं कि उन्हें लू लगी है या उन्हें कैसा महसूस हो रहा है। लेकिन बच्चे अपनी बात बता नहीं पाते हैं। ऐसे में हमें उनके लक्षणों को देखकर समझना पड़ता है कि उन्हें लू लगा है, ताकि हम लू से बचाव के उपायों को अपना सकें।
बच्चों में लू लगने के लक्षण
- लू लगने से बच्चे बार-बार बेहोश हो जाते हैं।
- बच्चों से मांसपेशियों में खिंचाव होने लगता है।
- बच्चों को नींद नहीं आती है पर वो सु्स्त पड़े रहते हैं।
- बच्चों का व्यवहार चिड़चिड़ा हो जाता है।
- सिर में दर्द की शिकायत होती है।
- लू लगने पर बच्चों को अधिक पसीना आता है।
- लू लगने पर बच्चे कमजोरी महसूस करते हैं और सुस्त पड़ जाते हैं।
- बच्चे ऐसे बात करते हैं जैसे वो भ्रम में हैं. वो स्पष्ट बोल पाने में और सोच पाने में सक्षम नहीं होते हैं।
- बच्चे बहुत जोर-जोर से और तेजी से सांस लेते हैं। साथ ही उनकी धड़कन भी तेज हो जाती है।
- बच्चों को बार-बार जी मिचलाता है और उन्हें उल्टी आती है।
- बच्चों को ऊंचाई पर चढ़ने में दिक्कत होती है साथ ही उन्हें उठने में परेशानी होती है।
- बच्चों के शरीर तापमान बढ़ जाता है। यह बढ़कर 105 डिग्री फॉरेनहाइट तक हो जाता है।
इस समय बरतें सावधानी
- जब आपका बच्चा धूप में साइकिल चला रहा हो तो उसे मना करें।
- जब बच्चा स्कूल की एसेंबली में खड़ा तो उस समय सावधानी बरतें।
- जब बच्चा खाली पैर धूप में खेल रहा है तो सावधानी बरतें।
लू लगने पर करें यह उपाय
- बच्चे को लू लगने पर तुरंत उसे छाया में लेकर आएं।
- इसके बाद उसके कपड़े खोल दें।
- पैर को हल्का ऊपर उठा कर बच्चे को सुला दें।
- हवा का बहाव तेज करने के लिए पंखा चला दें।
- इसके बाद उसे पानी से पोछ दें।
- अगर बच्चा होश में है तो उसे कुछ देर बाद पीने के लिए ठंडा पानी दें।
लू से बचाव के उपाय
- हमेशा पानी पीते रहें और डिहाइड्रेशन से खुद के बचाएं।
- धूप में निकलने से पहले शरीर को पूरी तरह से ढंक कर निकलें. चश्मा टोपी और छतरी का इस्तेमाल करें।
- धूप में खेलने से बचें।
- कार में बच्चों को बैठाकर उन्हें अकेले नहीं छोड़ें।