उरी मूवी रिव्यू: 200 करोड़ रुपये से ज्यादा कमाएगा ये फिल्मी प्रोडक्ट
उरी में भारतीय सेना के जवानों के कैंप पर किए गए आतंकी हमले के बाद भारतीय स्पेशल फोर्सेज की ओर से पीओके में किए गए सर्जिकल स्ट्राइल की कहानी है फिल्म उरी। जब थियेटर या मल्टीप्लेक्स के पर्दे पर ऐसी फिल्में दिखाई जाती हैं तो फिल्म को हिट करने वाली जनता का कम से कम सिनेमाहॉल के अंदर तो खून खौल ही जाता है। आप क्या सोचते हैं, इस बात से कुछ फर्क नहीं पड़ता। पर हॉल के अंदर मूवी शुरू होने से पहले ही जोर-जोर से राष्ट्रगान गाया जाता है। भारत माता की जय के नारे लगते हैं। जैसे ही नायक किसी को गोली मारता है तो तालियां बजती हैं। किसी भी फिल्म को हिट बनाने के लिए इतना ही काफी है। डायरेक्टर अनुज धर इस काम में पूरी तरह से कामयाब रहे हैं। फिल्म काबुल एक्सप्रेस का उनका अनुभव इस फिल्म में काम आया है। मुझे सच में याद नहीं कि अंतिम बार किस मूवी में बड़ा-बड़ा पर्दे पर लिखकर आया था इंडियन आर्मी।
निर्देशक एवं लेखक-आदित्य धर ने फिल्म की कहानी लिखी है। फिल्म को रियल टच देने के देने के लिए उरी की कहानी को मणिपुर से जोड़ा गया है। पिछले साल आई तुम्बाड के बाद इस मूवी को भी चैप्टर में डिवाइड किया गया। इससे कहानी को पर्दे में उतारने पर निर्देशक को आसानी भी हुई और हॉल के अंदर बैठी जनता भी उससे कंटेक्ट कर पाई। डायरेक्टर ने विकी कौशल से अच्छा काम करवाया है और यहीं पर डायरेक्टर जीत जाते हैं। इससे कोई फर्क नहीं पड़ता की कोई क्रिटिक फिल्म को लेकर क्या कहता है। पर डायरेक्टर अनुज धर का हीरो विहान शेरगिल अपनी एक्टिंग से जनता का दिल जीत लेता हैं। ऐसा मैं इसलिए कह रहा हूं क्योंकि ये मल्टीप्लेक्स के अंदर खुद बैठकर महसूस कर सकते हैं। जब पीछे से लड़कियां विहान के चिल्लाने पर तालियां बजाती हैं और आगे बैठे लड़के जमकर सीटियां। हॉलीवुड में सेना को प्रमोट करने के लिए इस तरह की मूवी बनाई जाती रही हैं। जेपी दत्ता के बाद अब अनुज धर अपना विजन लेकर आए हैं।
स्टार कॉस्ट-विक्की कौशल, यामी गौतम, कीर्ति कुलहारी, परेश रावल, अनिल जॉर्ज, मनीष चौधरी, मोहित रैना, रजित कपूर। विक्की कौशल ने मेजर विहान शेरगिल के किरदार को पूरे जोश के साथ निभाया है। मसान से लेकर अभी तक विक्की कौशल में कितना बदलाव आ गया है। ये आप देख सकते हैं। 70 एमएम के पर्दे उरी फिल्म को और ज्यादा बेहतर बनाने के लिए वो जीतोड़ कोशिश करते हैं। जनता उनको देखकर खुश होती है और उनका रील लाइफ में उनका जोश थोड़ी देर के लिए ही सही जनता के अंदर जोश भरने का काम करता है। यामी गौतम सुंदर दिखी हैं, पर बहुत ज्यादा उनके पास भी करने के लिए नहीं था। परेश रॉवल का रोल भी बहुत ज्यादा रोचक नहीं है। मोहित रैना की बॉडी और उनकी दौड़ आपको इंप्रेस करेगी। कीर्ति कुल्हारी के पास भी करने के लिए कुछ ज्यादा नहीं था। कुल मिलाकर ने फिल्म आदित्य धर और विक्की कौशल की ही है। रजित कपूर बहुत ज्यादा अपने किरदार में नहीं जमे।
निर्देशक एवं लेखक-आदित्य धर
प्रोड्यूसर-रोनी स्क्रूवाला
म्यूजिक-शाश्वत सचदेवा
सिनेमेटोग्राफर-मिथेश मीरचंदानी
एडिटर-शिवकुमार वी.पनिक्कर
एसोसिएट प्रोड्यूसर-सोनिया कंवर
डॉयरेक्टर आफ फोटोग्रॉफी-मिथेश मीरचंदानी
एक्शन डायरेक्टर-स्टीफन रिचर
प्रोडक्शन डिजाइनर-आदित्य कंवर
लिरिक्स-कुमार, राजशेखर
कॉस्ट्यूम डिजाइनर-रोहित चर्तुेवेदी
मेकअप डिजाइनर-विक्रम गायकवाड़
कॉस्टिंग डायरेक्टर-विक्की सिडाना
साउंड डिजाइन एंड मिक्स सुपरविजन-बिश्वदीप दीपक चटर्जी
वीएफएक्स: YRF Studio
फिल्म अवधि-2 घंटे 18 मिनट
टिकट के लिए दिए-200 रुपये
क्यों देख सकते हैं-विक्की कौशल की दमदार एक्टिंग के लिए। टेक्नोलॉजी के बेहतर इस्तेमाल के लिए और कुछ देर के लिए ही सही अपने अंदर जोश भरने के लिए। पर जोश भर कर किसी को गाली मत देने लगना।
क्यों न देंखे-अगर उरी जैसी घटनाओं पर बनी फिल्मों को शुद्ध रूप से प्रोपगेंडा मानते हैं तो।
फिल्म समीक्षक-सचिन यादव
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