इस वजह से गोविंदा ने मना कर दी थी ब्लॉकबस्टर हॉलीवुड फिल्म 'अवतार'
एक लड़का जो 21 साल की उम्र में इस दुनिया के लिए गुमनाम था, वही लड़का 22 साल की उम्र में लगभग 50 फिल्में साइन कर चुका था। बॉलिवुड के इतिहास में ऐसा पहले कभी नहीं हुआ था। डायरेक्टरों के लिए वह लड़का सबसे अनमोल था जिस फिल्म से जुड़ता उसे आसमान की बुलंदियों पर पहुंचा देता। बॉलिवुड के इस सितारे का नाम है गोविंदा। नब्बे के दशक के में ‘नंबर 1 हीरो’ गोविंदा की एक्टिंग और डांस का जादू बॉलिवुड प्रेमियों के सिर चढ़कर बोलता था। कॉमेडी से लेकर सीरयल और एक्शन रोल कर गोविंदा ने करोड़ों लोगों का दिल जीता और उनकी तारीफ पाई। हाल ही में गोविंदा एक टीवी कार्यक्रम में आए तो बताया बॉलिवुड में अपनी सफलता का राज।
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प्रॉड्यूसर नहीं उनके नौकरों ने बनाया हीरो
गोविंदा बताते हैं कि जब मैं बॉलिवुड में आया तो लाख कोशिश करने के बाद भी प्रॉड्यूसरों से मिलने का वक्त नहीं मिला क्योंकि उनकी फिक्स सोच होती है हीरो को लेकर। अगर इतनी हाइट है, ऐसा रंग है और खास तरह की आवाज है तो हीरो बन जाएगा या फिर नहीं बनेगा। ऐसे में मैंने उनसे तो मिल पाता था लेकिन उनके नौकर, ड्राइवर और मालियों को पटा लेता था और उन्हें ऑडिशन की सीडी दे आता था। जब काम मिलना शुरू हुआ तो मैं बिना स्क्रिप्ट सुने और फिल्म के बारे में जाने बगैर ही उसे साइन कर देता था क्योंकि गरीबी के दौर में जो मिला उसे स्वीकार करता चला गया और सेट पर जाकर स्क्रिप्ट के बारे में पूछता था। मजे की बात तो यह है कि जब मैं अपनी पहली फिल्म में रोमांटिक सीन कर रहा था तो मेरे पैर कांप रहे थे।
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एक फंक्शन में देखकर क्रिएट किया कुली नंबर 1 का किरदार
मैंने फंक्शन में एक शख्स को देखा। मुंह में कुछ चबाता हुआ, बड़ी-बड़ी आंखें जो बाहर की ओर निकली हुई थीं। मुझे वह आदमी इंट्रस्टिंग लगा। इससे पहले कि मैं उससे कुछ पूछता पुलिस आ गई और पूछने लगी कि कौन है तू? कहां से आया है और इधर कैसे घुस आया है। इससे पहले वह कुछ बोलता एक पुलिसवाले ने फिर पूछ लिया ये आंख किसको दिखा रहा है? इसपर उस आदमी ने कहा, कहां आंख दिखा रहा है मैं। मेरा आंख ही ऐसा है। वहीं से यह किरदार निकला।
कुछ ऐसा ही हसीना मान जाएगी का वह पंजाबी का किरदार भी निकला। एक समय ऐसा भी आया जब इंडस्ट्री के टॉप प्रॉड्यूसर्स मेरे आगे लाइन लगाकर खड़े होते थे लेकिन जब उन्हें पता चलता कि मेरे पास डेट्स ही नहीं हैं तो वे चले जाते। इस वजह से मेरे पास ऐसे लोग प्रॉड्यूसर बनकर आने जिन्होंने कभी कोई फिल्म प्रोड्यूस नहीं की होगी। इस परेशानी से बाहर निकाला दिलीप कुमार साहब ने। उन्होंने मुझसे कहा इन 50 में से 25 फिल्में छोड़ दे। मैंने उनके कहा अब तो पैसे ले चुका हूं मैं। इस पर उन्होंने कहा कि कहीं से भी उनके पैसे वापस करो। उनके कहने पर कई फिल्में छोड़ी उसके बाद कई टॉप प्रॉड्यूसर्स के साथ काम किया।
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सनी देओल से पहले मुझे ऑफर हुई थी गदर
जब डायरेक्टर ने मुझे गदर की स्क्रिप्ट सुनाई तो लगा कि यार, मैंने कभी अपनी लाइफ में इतनी गालियां नहीं और इतने लोगों से नहीं भिड़ा इसलिए मैं खुद को उससे रिलेट नहीं कर पाया। ठीक ऐसा ही देवदास में चुन्नीलाल का रोल ऑफर हुआ था। तब मैंने डायरेक्टर से पूछा कि आपको ऐसा क्यों लगा कि आप मुझे पिलापिलाकर चुन्नीबाबू बना देंगे। इसके बाद मैंने ताल फिल्म छोड़ी जो रोल बाद में अनिल कपूर को मिला। सबसे बड़ी तो हॉलिवुड की फिल्म अवतार को मना किया। मैंने उनसे कहा कि यह फिल्म सात साल से पहले नहीं रिलीज हो पाएगी। मैंने उनसे यह कहते हुए मना कर दिया कि मैं अभिनेता हूं और आप मेरी पूरी बॉडी को कलर करेंगे। यह मेरे से नहीं होगा। हां, लेकिन उस डायरेक्टर को यह भी कहकर आया था कि आपकी यह फिल्म निश्चित रूप से सुपरहिट होगी और वैसा ही हुआ। लगभग आठ या नौ साल बात वह फिल्म रिलीज हुई और सुपरहिट भी हुई।
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