प्रदेश में आलू की कीमतों पर लगातार व्रद्धि हो रही है। इसके पीछे जमाखोरी की आशंका है। कोल्ड स्टोरों में आलू की निकासी धीमी हो रही है। अभी भी करीब 60 प्रतिशत आलू स्टोर में जमा है। ऐसे में हर जिले से कोल्ड स्टोर वार आलू की निकासी की रिपोर्ट मांगी गई है। प्रदेश में थोक में सफ़ेद आलू अधिकतम 2426 रुपए प्रति क्विंटल है। जब कि राजधानी में फुटकर में 40 रुपए प्रति किलो बिक रहा है।
प्रदेश में करीब 198 कोल्डस्टोर हैं उद्यान विभाग कि ओर से सीजन में करीब 245 लाख मीट्रिक टन आलू उत्पादन का लक्ष्य रखा गया था लेकिन 222 लाख मीट्रिक टन उत्पादन हुआ। इसमें 139 लाख मीट्रिक टन आलू कोल्ड स्टोर में रखा गया था जिसमें से करीब 40 फीसदी आलू निकल चुका है। बाकी 60 फीसदी स्टोर में है। आलू के भाव में तेजी की वजह से कोल्ड स्टोर में रखने वाले व्यापारी अभी आलू निकाल नहीं रहे हैं। यही वजह है की बाज़ार में आलू की कमी की वजह से भाव बढ़े हैं।
जून 2023 की तुलना में जून 2024 में आलू का औसत भाव करीब 48.26 फीसदी बढ़ा है। जब किसानों के पास आलू था तब भी 1200 से 1600 रुपए प्रति क्विंटल था। मई माह में जैसे ही आलू स्टोर में जमा किया जाने लगा बस वहीं से आलू के दाम भी बढ़ने शुरू हो गए और अब 2400 से भी ज्यादा हो गया। फुटकर में यही आलू 35 से 40 रूपए प्रति किलो बाज़ार में बिक रहा है।
उद्यान मंत्री के निर्देश के बाद जागा विभाग
जुलाई में उद्यान मंत्री दिनेश सिंह ने कोल्ड स्टोरों का निरीक्षण किया था। उन्होने भी इस निरीक्षण में जमाखोरी की आशंका जताई थी। विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिया था कि कोल्डस्टोरों की लगातार निगरानी की जाए। अब नए सिरे से विभागीय अधिकारियों को कोल्ड स्टोरॉ निकासी की रिपोर्ट देने को कहा गया है। उद्यान निदेशक बीबी दिवेदी ने बताया कि जमाखोरी रोकने के लिए सख्त कदम उठाए जा रहे हैं। हर रोज़ की रिपोर्ट देखी जा रही है।