
रेलवे ने टिकट बुकिंग के नियमों में बड़ा बदलाव करते हुए एडवांस रिजर्वेशन की समय सीमा को चार महीने से घटाकर दो महीने कर दिया है। नया नियम एक नवंबर 2024 से प्रभावी होगा।
रेलवे के इस फैसले के पीछे का कारण
रेलवे का कहना है कि ज्यादा कैंसिलेशन और सीटों की बर्बादी को देखते हुए यह फैसला लिया है। रेलवे ने कहा कि 120 दिन का एडवांस रिजर्वेशन पीरियड बहुत लंबा हो जाता था। इस अवधि में कराए गए करीब 21 प्रतिशत टिकट निरस्त करवाए जाते हैं। जबकि 4 से 5 प्रतिशत लोग यात्रा ही नहीं करते हैं। कई मामले ऐसे भी आए जिनमें यात्रियों ने अपना टिकट कैंसिल ही नहीं करवाया जिससे धोखाधड़ी की संभावना बनी रहती है और जरूरतमंद टिकट के लिए भटकते देखे जाते हैं। रेलवे के मुताबिक सिर्फ 13 प्रतिशत लोग ही चार महीने पहले ट्रेन का टिकट एडवांस में बुक करते थे। जबकि ज्यादातर टिकटों की बुकिंग यात्रा के 45 दिनों के अंदर होती थी।
अभी टिकट बुकिंग का क्या नियम है
ट्रेनों में एडवांस टिकट बुकिंग की अवधि में समय-समय पर परिवर्तन होता आया है। अभी तक के नियम के मुताबिक यात्रा से पहले चार महीने के अंदर ट्रेन टिकट की एडवांस बुकिंग करवा सकते हैं। ट्रेनों की अग्रिम आरक्षण अवधि में समय-समय पर परिवर्तन होता रहा है। कभी आरक्षण की अवधि 45 दिन हुआ करती थी और कभी 90 दिन भी रही है। वर्तमान में यह अवधि 120 दिन है। इसके पहले 14 जुलाई 2007 तक अग्रिम टिकट बुकिंग की अवधि 60 दिन हुआ करती थी, जिसे एक फरवरी 2008 से 120 दिन कर दिया गया था। विभिन्न अवधियों के विश्लेषण के बाद रेलवे ने पाया कि यात्रियों की सुविधा के लिहाज से अधिकतम 60 दिन की अग्रिम आरक्षण अवधि सर्वोत्तम हो सकती है।
जिन्होंने पहले से टिकट बुक करवाया उनका क्या होगा
जिन यात्रियों ने पहले से टिकट बुक करवा रखे हैं, उन पर नए नियम का असर नहीं होगा। रेलवे का कहना है कि नया नियम 1 नवंबर 2024 से लागू होगा। 120 दिन के नियम के तहत 31 अक्तूबर तक की गई बुकिंग बरकरार रहेगी। इसका मतलब है कि 31 अक्तूबर तक हुए आरक्षण पर इसका असर नहीं होगा। हालांकि अगर आपने 60 दिनों के आगे की टिकट अभी से बुक कर ली है तो उसे कैंसिल करने के नियमों में कोई बदलाव नहीं हुआ है।
टिकट कब तक कैंसिल करवा सकते हैं
नए नियम के मुताबिक, टिकट कैंसिलेशन की अवधि भी 60 दिन होगी। यानी आपको अपना टिकट रद्द करना है तो इसी अवधि के भीतर प्रक्रिया पूरी करनी होगी।
नए नियम का किन ट्रेनों की टिकट बुकिंग पर असर नहीं
जिन ट्रेनों का एडवांस रिजर्व पीरिएड पहले ही कम है, उन पर नए नियम का असर नहीं होगा। ऐसी ट्रेनों में गोमती एक्सप्रेस और ताज एक्सप्रेस जैसी गाड़ियां शामिल हैं। इन ट्रेनों में वर्तमान में अग्रिम आरक्षण के लिए कम समय सीमा पहले से ही लागू है। विदेशी पर्यटकों के लिए 365 दिन की सीमा के मामले में भी कोई बदलाव नहीं होगा। विदेशी पर्यटक पहले की ही तरह 365 दिन की समय-सीमा में रिजर्वेशन करवा सकेंगे।
नए नियम के फायदे
जल्द ही दिवाली आने वाली है और उसके बाद छठ पूजा है। दोनों बड़े त्योहार हैं और ऐसे समय शहरों में नौकरीपेशा लोग अपने गांव और घर जाते हैं। भीड़ ज्यादा होती है। ट्रेन से लेकर एयर टिकट तक आसानी से नहीं मिलते हैं और आम लोगों को परेशान होते देखा जाता है। कालाबाजारी बढ़ जाती है जिससे रेलवे को भी नुकसान होता है और अवधि वसूली की शिकायतें आने लगती हैं। रेलवे का कहना है कि त्योहारों के समय ट्रेन यात्रियों की ज्यादा भीड़ को देखते हुए नियम में संशोधन किया है। इससे कालाबाजारी और भ्रष्टाचार पर भी काफी हद तक अंकुश लगेगा।
नए नियम से आएंगे सार्थक बदलाव
देश में ऐसे लाखों लोग हैं जो अपने शहर से कई किलोमीटर दूर पढ़ाई करने या रोजगार के लिए जाते हैं या कई बार सरकारी परीक्षाओं के लिए लाखों विद्यार्थी दूसरे शहर में परीक्षा देने जाते हैं। इनमें ज्यादातर लोगों के लिए ट्रेन से सफर करना आर्थिक तौर पर एक बहुत बड़ी सुविधा है। कई मुख्य त्यौहारों के समय ट्रेन में भीड़ इतनी बढ़ जाती है कि लोगों को खड़े होने के लिए जनरल टिकट भी नहीं मिलता है। इसलिए ट्रेन की एडवांस बुकिंग को लेकर लोग पहले से काफी सतर्क रहते हैं।
पहले के नियम के मुताबिक, जब कई लोग तीन-चार महीने पहले ही टिकट बुक कर लेते हैं तो यात्रा की तारीख से एक महीने पहले भी दूसरे यात्रियों को लंबी वेटिंग झेलनी पड़ती थी, इसलिए इस नए नियम के लागू होने के बाद यात्रियों के लिए यात्रा से कुछ दिनों पहले भी टिकट उपलब्ध रहेगे और टिकट के कैंसिलेशन और रिफंड से जुड़ी दिक्कतों में भी सुधार किया जा सकेगा।